Ganga Nadi Kahan Se Nikalti Hai ( गंगा नदी कहां से निकलती हैं?)

नमस्कार दोस्तों जैसा की आप सब जानते है की हमारे देश में नदियों का कितना महत्त्व है। हमारे देश में प्राचीन काल से ही नदियों को प्रवित्र माना जाता है। और बात करे गंगा नदी की तो गंगा नदी सब नदियों में से सबसे पवित्र नदी मानी जाती है। दोस्तों क्या आप भी Google पर यह सर्च कर रहे है की “Ganga Nadi Kahan Se Nikalti Hai”। आपने भी कहीं ना कहीं पढ़ा या सुना होगा की गंगा नदी हिमायल से निकलती है। पर आपको यह बता दे की गंगा नदी दो नदियों से बनती है। चलिए अब इस आर्टिकल के जरिये जानते है की गंगा नदी कहाँ से गुजरती है और आगे जाकर किस नदी से मिलती है

Ganga Nadi Kahan Se Nikalti Hai

Ganga Nadi Kahan Se Nikalti Hai ( गंगा नदी कहाँ से गुजरती है ?)

दोस्तों गंगा नदी भारत की सबसे महत्वपूर्ण नदी मानी जाती है। क्या आप भी जानना चाहते हे की “कहां से होती है गंगा की उत्पत्ति ?” तो आपको बता दे की गंगा नदी  पच्छिमी हिमालय के 3,892 मीटर ऊंचे गंगोत्री हिमनद ( Gangotri Glacier ) से निकलती है। हिमालय का ग्लेशियर जब पिघलता है तब वह साफ़ पानी में आकर भगीरथ नदी का रूप ले लेता है। गंगोत्री, सतोपंथ और खटलिंग के ग्लेशियर (हिमनद) पिघलने से पानी बनता है। नंददेवी, त्रिशूल, केदारनाथ, नंदा कोट और कामेट में इन पानी को यानी गंगा नदी के प्रवाह को देखा जा सकता है।

जैसा की आपको बताया की गंगा नदी दो नदियों से बनती है। जब भागीरथी नदी हिमालय से नीचे बहकर आती है, तब भागीरथी नदी से मिल जाती है, यह स्थान देवप्रयाग के नाम से जाना जाता है। लेकिन अलकनंदा नदी भागीरथी नदी को देवप्रयाग से मिलने के पहले अन्य कई नदियों के साथ मिलकर आती है और पांच प्रयाग बनाती हैं,और यह प्रयाग “पंच प्रयाग” के नाम से भी जाने जाते हैं।

वास्तव में देखा जाए तो अलकनंदा नदी दो धाराओं से मिलकर बनती है – एक है धोलीगंगा नदी और दूसरी विष्णु गंगा नदी, यह दोनों नदियाँ ग्लेशियर से निकलती हैं और विष्णु प्रयाग में जाकर एक दूसरे से मिल जाती हैं, जब ये नदिया विष्णु प्रयाग में मिल जाती है तब ये अलकनंदा नदी कहलाती हैं।

अलकनंदा नदी को आगे जाकर कर्णप्रयाग में पिण्डार नदी मिलती हैं, तथा कर्णप्रयाग से आगे जाकर अलकनंदा नदी को रूद्रप्रयाग में मंदाकिनी नदी मिल जाती हैं, तथा रूद्रप्रयाग से आगे जाकर अलकनंदा नदी देवप्रयाग में भागीरथी नदी को मिल जाती हैं। और यही भागीरथी और अलकनंदा नदी दोनों मिलकर “गंगा नदी” कहलाती हैं।

पंच प्रयाग के नाम कुछ इस प्रकार है ,

विष्णु प्रयाग (अलकनन्दा नदी और धौली गंगा )
नन्द प्रयाग (अलकनन्दा नदी और नंदाकनी नदी )
कर्ण प्रयाग (अलकनन्दा नदी और पिण्डारी नदी )
रुद् प्रयाग (अलकनन्दा नदी और मन्दाकनी नदी )
देवप्रयाग (अलकनन्दा और भागीरथी नदी )

गंगा नदी भारत में 5 राज्यों से बहते हुए बांग्लादेश में प्रवेश करती हैं। और बांग्लादेश में आगे जाकर गंगा नदी बंगाल की खाड़ी में गिर जाती हैं। गंगा और उसकी सहायक नदियाँ मिलकर गंगा नदी भारत का सबसे बड़ा नदी तंत्र का निर्माण करती हैं।

गंगा नदी भारत और बांग्लादेश को मिलाकर कुल 2525 किलोमीटर की दुरी में एक विशाल नदी बनकर बहती है तथा बंगाल की खाड़ी की सुंन्दर वन तक भारत की मुख्य नदी के रूप में विशाल विस्तार को सींचती है।

दोस्तों यह तो हमने देखा की Ganga Nadi Kahan Se Nikalti Hai है चलिए अब जानते है गंगा नदी का महत्व।

गंगा नदी का महत्व (Ganga Nadi Kahan Se Nikalti Hai)

गंगा नदी हमारे देख की प्राकृतिक सम्पदा ही नहीं है ,इससे हमारी भावनात्मक आस्था भी जुडी हुई है। हमारे देश में गंगा नदी को सिर्फ नदी नहीं लेकिन माँ या देवी के रूप में पूजा जाता है। गंगा नदी के जल को पवित्र माना जाता है, लोग नदी में स्नान करके खुदको धन्य गिनते है ,ऐसा भी माना जाता है की गंगा नदी में डुबकी लगाने से हमारे पाप धूल जाते है।

गंगा नदी का हमारे देश में बड़ा ही महत्त्व है। गंगा नदी भारत के उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, बिहार और बंगाल इन चार राज्यों में से होकर गुजरती है। गंगा नदी एक बड़े क्षेत्र को सिचाई प्रदान करती है। भारत के इस मध्यम भाग को ‘गंगा का मैदान’ भी कहा जाता है। यह प्रदेश गंगा नदी की वजह से अत्यंत उपजाऊ, संपन्न तथा हरा-भरा है । इन राज्यों में कृषि-उपज से संबंधित तथा कृषि पर आधारित अनेक उद्योग-धंधे भी फैले हुए हैं, जिनसे लाखों लोगों की जीविका चल रही है, जिससे राष्ट्रीय आय में वृद्धि भी होती है। पिने का पानी भी गंगा और उसकी नहरों से ही प्राप्त होता है।

यदि गंगा न होती तो हमारे देश का एक महत्त्वपूर्ण भाग बंजर तथा रेगिस्तान ही रहता। इसीलिए गंगा उत्तर भारत की सबसे पवित्र व महत्त्वपूर्ण नदी मानी जाती है। गंगा नदी भारतीय संस्कृति का भी अभिन्न अंग है। भारत के प्राचीन ग्रंथों; जैसे- वेद, पुराण, महाभारत इत्यादि में गंगा नदी की पवित्रता का वर्णन किया गया है। भारत के अनेक तीर्थ गंगा के किनारे पर ही बसे हुए है।

गंगा नदी के बारे में महत्वपूर्ण तथ्य

  • गंगा नदी का उद्गम स्थल- गंगोत्री हिमनद (गोमुख ग्लेशियर के निकट गोमुख जिला, उत्तराखण्ड);
  • गंगा नदी की लम्बाई– लगभग 2525 किलोमीटर (यानी 1,569 मील);
  • गंगा नदी की कुछ क्षेत्रों की अधिकतम चौड़ाई- 240 किलोमीटर
  • गंगा नदी पर बने हुए बांध – फ़रक्का बांध( पश्चिम बंगाल) , टिहरी बांध (उत्तराखण्ड), भीमगोडा बांध (हरिद्वार)।
  • यह नदी कुल 2 देशों से होकर गुज़रती हैं – भारत और बांग्लादेश
  • गंगा नदी भारत की सबसे लम्बी और विश्व की पाँचवी सबसे लंबी नदी हैं।
  • भारत का दूसरा बड़ा लंबा पुल गंगा नदी पर ही स्थित है।
  • यह नदी एक अंतर्राष्ट्रीय नदी हैं।

गंगा नदी वास्तव में सभी नदियों से सबसे अलग है। लेकिन यह क्यों अलग है इस बारे में जानते है। गंगा नदी का पानी इतना शुद्ध है कि इसमें अन्य बैक्टीरिया मिलाने पर वह जीवित नहीं रहते वे मर जाते हैं ऐसा ब्रिटिश प्रयोगशाला में एक प्रयोग द्रारा पाया गया था।

गंगा के पानी में बैक्टीरिया से लड़ने की क्षमता अधिक होती है। गंगा नदी के पानी में अन्य नदियों के पानी की तुलना में 25 प्रतिशत ऑक्सिजन का स्तर ऊंचा पाया गया है। इसलिए गंगा का पानी कभी भी खराब नहीं होता है साथ ही आपको यह भी बता दे कि गंगा नदी पुरे विश्व की सिर्फ एक ऐसी नदी है जो बाकि सब नदियों की तुलना में 15 से 25 गुणा अधिक तेजी से कार्बनिक कचरे का विघटन करती है। इसलिए जब हम गंगा जल अपने घर सालो तक रखते है तो उसमें कीड़े नहीं होते है।

गंगा की सहायक नदियाँ

गंगा नदी की कई सहायक नदियाँ नेपाल, बांग्लादेश और चीन (तिब्बत) के क्षेत्रों से निकलती हैं।

पश्चिम बंगाल में गंगा नदी पर बनाया गया फरक्का बांध जहा पर नदी के पानी को रोका जाता है और उससे बिजली उत्त्पन की जाती है और फसल की सिचाई भी की जाती है। ये बांध पश्चिम बंगाल के विकाश में महत्व का योगदान देता है। इसके अलावा उत्तराखंड में टिहरी बांध, हरिद्वार में भीमगोड़ा बांध बनाया गया है।

  • चम्बल नदी,
  • यमुना नदी,
  • रामगंगा नदी,
  • शारदा नदी,
  • करनाली नदी,
  • गंडक नदी,
  • कोसी नदी,
  • महानन्दा नदी,
  • सोन नदी,
  • केन नदी,
  • दामोदर नदी,
  • काकशी नदी,
  • ताप्ती नदी,
  • बेतवा नदी और
  • दक्षिणी तोस

गंगा के दाँये तट पर यमुना नदी, चम्बल नदी, सिंध नदी, वेतवा नदी, केन नदी, सोन नदी, टोन्स नदी आकर मिलने वाली नदियों में प्रमुख हैं।

गंगा के बाँये तट पर राम गंगा नदी, गोमती नदी, घाघरा नदी, गंढक नदी, कोसी नदी, महानंदा नदी आकर मिलने वाली नदियों में प्रमुख हैं।

Conclusion:

तो यह थी “Ganga Nadi Kahan Se Nikalti Hai” के बारे में कुछ जानकारी। आशा करते है आपको इस Article कुछ जानकारी मिली होगी। और अगर आपको यह Post अच्छी लगी हो तो इस Share करना ना भूले और कुछ समज में ना आया हो तो आप Comment भी कर सकते है। हमारा Article यहाँ तक पढ़ने के लिया आपका धन्यवाद ….

FAQ’S About Ganga Nadi Kahan Se Nikalti Hai

1. गंगोत्री हिमनद कहां पर स्थित है?

गंगोत्री हिमनद पच्छिमी हिमालय के 3,892 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है

2. गंगा नदी की लम्बाई कितनी है?

गंगा नदी की कुल लम्बाई भारत और बांग्लादेश को मिलाकर कुल 2525 किलोमीटर की होती है।

3. गंगा नदी के कितने नाम हैं?

गंगा नदी को भागीरथी, जान्हवी, शिवाया, पंडिता, मुख्या, हुगली, उत्तर वाहिनी, मंदाकिनी, दुर्गाय, त्रिपथगा के नाम से भी जाना जाता है।

4. गंगा नदी किन किन राज्यों से होकर गुजरती है?

जैसा कि हमने अभी आपको बताया कि गंगा नदी का उद्गम स्थल उत्तराखंड में गंगोत्री हिमनद है वहां से निकलने के बाद यह कुल 4 राज्यों से होकर गुजरती है, और उत्तर- प्रदेश, बिहार, झारखंड और पश्चिम बंगाल से होते हुए बंगाल की खाड़ी में मिल जाती हैं।

5. गंगा नदी किन किन स्थानों से होकर गुजरती है

गंगोत्री और बंगाल की खाड़ी के बीच गंगा नदी इन स्थानों से होकर गुजरती है जैसे ऋषिकेश, हरिद्वार, कन्नौज, कानपुर, इलाहाबाद, वाराणसी, बक्सर, पटना, हाजीपुर, मुंगेर, कटिहार, साहिबगंज,फरक्का, मुर्शिदाबाद, प्लासी, नबाद्वीप, गंगा सागर

6. गंगा नदी पर कौन-कौनसे पुल हैं?

गंगा नदी पर कुल14 पुल हैं, जिनमे से कुछ के नाम महात्मा गाँधी सेतु, विद्यासागर सेतु, मुंगेर ब्रिज, मालवीय ब्रिज, अरह छपरा पुल, हार्डिंग ब्रिज, भक्तियापुर ब्रिज हैं.

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